घर में भूखे मर जाएंगे, लेकिन दोबारा दूसरे प्रदेश जाकर मजदूरी नहीं करेंगे। भूख क्या होती है इसका दर्द शायद जिंदगी में कभी नहीं भुला पाएंगे। कैसे बच्चे छटपटाते थे, भरण-पोषण के लिए कैसी-कैसी जद्दोजहद करनी पड़ी वह हम ही जानते हैं। गांव व आसपास के क्षेत्र में किसी तरह परिवार पाल लेंगे लेकिन घर से बाहर कदम नहीं रखेंगे।